सामना संवाददाता / जम्मू
भारतीय सेना ने ९ मार्च को जम्मू-कश्मीर के पहाड़ी डोडा जिले में १०० फुट ऊंचा राष्ट्रीय ध्वज स्थापित किया। एक वरिष्ठ अधिकारी ने इस प्रयास को उन अनगिनत सैनिकों को उचित श्रद्धांजलि करार दिया, जिन्होंने देश के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए। चिनाब घाटी क्षेत्र में सेना द्वारा फहराया गया यह दूसरा ऐसा हाई-मास्ट ध्वज हैं। बता दें कि किश्तवाड़ शहर में जो पहले कभी आतंकवाद का गढ़ था। एक दशक पहले आतंकवाद का पूरी तरह से सफाया होने के बाद पिछले साल जुलाई में, १०० फुट ऊंचा राष्ट्रीय ध्वज लगाया गया था। सेना की डेल्टा फोर्स के जनरल ऑफिसर कमांडिंग मेजर जनरल अजय कुमार ने सेक्टर ९, राष्ट्रीय राइफल्स के कमांडर, ब्रिगेडियर समीर कुमार पलांडे, डोडा के उपायुक्त विशेष पॉल महाजन और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अब्दुल कयूम के साथ डोडा स्पोर्ट्स स्टेडियम में सबसे ऊंचे झंडे को फहराया। मेजर जनरल कुमार ने राष्ट्र की सेवा में शहीद हुए सैनिकों के परिजनों को सम्मानित किया और नागरिक समाज के उन सदस्यों को भी सम्मानित किया जिन्होंने राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
‘सबसे ऊंचा झंडा सैनिकों को श्रद्धांजलि’
जीओसी ने कहा कि सबसे ऊंचा झंडा चिनाब घाटी क्षेत्र के उन अनगिनत सैनिकों को श्रद्धांजलि है, जिन्होंने राष्ट्र की एकता और अखंडता की रक्षा करते हुए अपना सर्वोच्च बलिदान दिया है। उन्होंने कहा कि डोडा में अपनी तरह का पहला १०० फुट ऊंचा राष्ट्रीय ध्वज न केवल सेना के लिए बल्कि पहाड़ी जिले के सभी निवासियों के लिए गर्व का क्षण था।