• कानून-व्यवस्था पर सरकार को घेरा
सामना संवाददाता / मुंबई
राज्य में बिगड़ती कानून-व्यवस्था को लेकर कल विधानसभा में विपक्षी दलों के प्रस्ताव पर बोलते हुए कांग्रेस विधायक दल के नेता बालासाहेब थोरात ने राज्य सरकार को घेरा। कांग्रेस विधायक दल के नेता थोरात ने कहा कि राज्य में कानून-व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है। महिलाओं और लड़कियों के गायब होने की दर चिंताजनक है। पिछले तीन महीने में ५,६०० लड़कियां गायब हो चुकी हैं। दहेज और महिला उत्पीड़न के मामले भी बढ़े हैं। यह महाराष्ट्र जैसे प्रगतिशील राज्य को शोभा नहीं देता है। राज्य के शहर अपराध के अड्डे बनते जा रहे हैं।
बालासाहेब थोरात ने कहा कि शहर में बढ़ते अपराध का मुद्दा मैं पहले भी सदन में उठा चुका हूं। इस वजह से शहरवासियों में भय व बेचैनी का माहौल है। थोरात ने आगे कहा कि जैसे-जैसे राज्य में चुनाव नजदीक आ रहे हैं। राज्य का माहौल जानबूझकर खराब करने की कोशिशें की जा रही हैं। जाति और धर्म के नाम पर समाज में लोगों के बीच भेदभाव पैदा किया जा रहा है। कुछ लोग भड़काऊ भाषण देकर अशांति पैâला रहे हैं। ऐसे भड़काऊ भाषण देनेवालों का गिरोह प्रदेश में सक्रिय हो गया है। आखिर हम महाराष्ट्र को कहां ले जाना चाहते हैं? इसके बारे में सोचने का समय आ गया है। क्या हम महाराष्ट्र को भी मणिपुर और हरियाणा के रास्ते ले जाएंगे? थोरात ने ऐसा ज्वलंत सवाल सदन में उठाया। महापुरुषों के अपमान के संबंध में बोलते हुए थोरात ने कहा, ‘इंडिया पोस्ट, इंडिकेटर्स, भारद्वाज स्पीक के लोग कौन हैं? इनके पीछे का मास्टरमाइंड कौन है? सरकार को इसका पता लगाना चाहिए। उनकी हिम्मत वैâसे हुई इतने निचले स्तर पर जाकर सावित्रीबाई फुले पर कुछ कहने या लिखने की? अगर उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई तो महाराष्ट्र की जनता को लगेगा कि सब कुछ सरकार के आशीर्वाद से चल रहा है।’ थोरात ने कहा कि भिड़े जैसा विकृत व्यक्ति बार-बार महात्मा गांधी, महात्मा फुले, क्रांतिज्योति सावित्रीबाई फुले का अपमान कर रहा है और सदन में इस बारे में बोलने की इजाजत भी नहीं है। वास्तव में ऐसे विकृत लोगों को जंजीरों से बांधकर जेल में डाल देना चाहिए। सरकार को इन सवालों का जवाब देना चाहिए। मुख्यमंत्री शिंदे, उपमुख्यमंत्री अजीत दादा और भुजबल साहब सत्ता में आकर शांत हो गए। अजीत दादा, भुजबल साहब हम सभी प्रगतिशील विचारोंवाले नेता हैं। बाला साहेब थोरात ने इन नेताओं पर तंज कसते हुए कहा कि ये सभी नेता आज सत्ता में शामिल होने के बाद शांत बैठ गए हैं।