मुख्यपृष्ठखेलक्लीन बोल्ड : कांसे वाली फर्राटा गर्ल

क्लीन बोल्ड : कांसे वाली फर्राटा गर्ल

अमिताभ श्रीवास्तव

पेरिस में पैराओलिंपिक चल रहे हैं। हिंदुस्थान कमाल दिखा रहा है। देश की फर्राटा गर्ल ने गजब ढा दिया है। वो कांसे वाली फर्राटा गर्ल बन गई हैं। जी हां, हिंदुस्थान की प्रीति पाल ने महिलाओं की टी३५, १०० मीटर स्‍पर्धा में ब्रॉन्‍ज मेडल जीतकर इतिहास रच दिया। पेरिस पैरालिंपिक्‍स २०२४ में प्रीति ने अपने निजी सर्वश्रेष्‍ठ समय १४.२१ सेकंड में रेस पूरी की। २३ साल की प्रीति पाल का ब्रॉन्‍ज पेरिस पैरालिंपिक्‍स में पैरा-एथलेटिक्‍स में हिंदुस्थान का पहला मेडल है। चीन की झू जिया (१३.५८) और गुओ कियानकियान (१३.७४) ने क्रमश: गोल्‍ड व सिल्‍वर मेडल जीते। प्रीति पाल पैरालिंपिक्‍स इतिहास में दीपा मलिक, अवनि लेखरा, भाविना पटेल और मोना अग्रवाल के बाद मेडल जीतने वाली पांचवीं हिंदुस्थानी एथलीट बनीं। यह भी बता दें कि टी-३५, १०० मीटर की दौड़ होती क्या है? टी-३५ वर्गीकरण उन एथलीटों के लिए है जिनमें हाइपरटोनिया, एटैक्सिया और एथेटोसिस के साथ-साथ सेरेब्रल पाल्सी जैसी समन्वय संबंधी समस्याएं हैं।
फिर से खड़ी
होऊंगी पोडियम पर
पैराओलिंपिक में देश को पहला गोल्ड मेडल दिलवाने वाली निशानेबाज की भूख अभी खत्म नहीं हुई है। वो अभी फिर से पोडियम पर खड़ी होकर मेडल गले में पहनना चाहती हैं। ऐतिहासिक स्वर्ण पदक जीतने वाली पैरा निशानेबाज अवनि लेखरा का ध्यान पेरिस पैरालिंपिक में और अधिक पदक जीतने पर लगा है और उनका कहना है कि वह अपनी बची हुई दो स्पर्धाओं में भी पोडियम पर आना चाहती हैं। अवनि महिलाओं की १० मीटर एयर राइफल (एसएच१) निशानेबाजी स्पर्धा लगातार दो पैरालिंपिक स्वर्ण पदक जीतने वाली पहली हिंदुस्थानी बन गर्इं। तीन साल पहले टोक्यो पैरालिंपिक में स्वर्ण पदक जीतने वाली २२ वर्षीय अवनि ने शानदार २४९.७ अंक हासिल कर तीन साल पहले के अपने ही पैरालिंपिक रिकॉर्ड २४९.६ को तोड़ दिया। अवनि ने ऐतिहासिक जीत के बाद कहा कि मुझे खुशी है कि इस बार भी एरीना में बजने वाला पहला राष्ट्रगान हिंदुस्थान का राष्ट्रगान था। मुझे अभी दो और स्पर्धाओं में हिस्सा लेना है इसलिए मैं देश के लिए और पदक जीतने पर ध्यान लगाए हुए हूं।
भारी उलटफेर
यूएस ओपन में भारी उलटफेर हो गया। पहले अल्काराज हारकर बाहर हुए तो अब दुनिया के दिग्गज टेनिस खिलाड़ी और मौजूदा विजेता नोवाक जोकोविच यूएस ओपन के तीसरे दौर में उलटफेर का शिकार होकर बाहर हो गए हैं। ऑस्ट्रेलिया के एलेक्सी पोपीरिन ने उन्हें चार सेटों तक चले मुकाबले में ६-४, ६-४, २-६, ६-४ से मात दी। दूसरी सीड जोकोविच की कोशिश थी कि वह इस टूर्नामेंट को जीतकर अपने ग्रैंड स्लैम खिताबों की संख्या को २५ तक पहुंचा दें, लेकिन एलेक्सी ने ऐसा होने नहीं दिया, बल्कि २०१७ के बाद ये पहली बार होगा जब सर्बिया का ये दिग्गज पूरे साल में चारों ग्रैंड स्लैम खेलने के बाद एक भी नहीं जीत सका हो। २०१७ से पहले ऐसा २०१० में हुआ था। जोकोविच ने इसी के साथ यूएस ओपन में अपने सबसे खराब रिकॉर्ड की बराबरी भी कर ली है। वह इससे पहले तीसरे राउंड या उससे पहले साल २००५ में हारकर बाहर हुए थे। उस समय जोकोविच को ऑस्ट्रेलिया के ही लेटन हेविट ने हराया था। वह अब इस टीम के डेविस कप वैâप्टन हैं। आर्थर एश स्टेडियम में जब एलेक्सी ने उन्हें हराया तो हेविट वहीं मौजूद थे।

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