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मैं क्या शिलाजीत की रोटी खाता था? …यौन शोषण के आरोपों पर बोले भाजपा सांसद बृजभूषण सिंह

सामना संवाददाता / नई दिल्ली
जंतर-मंतर में पहलवान अभी भी धरना दे रहे हैं। उनकी मांग है कि जब तक भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष सलाखों के पीछे नहीं जाते हम यहां से नहीं हटेंगे। हालांकि मामला सुप्रीम कोर्ट के पाले में है। दिल्ली पुलिस ने दो एफआईआर दर्ज की हैं। इनमें से एक पॉक्सो के तहत है। विनेश फोगाट ने एक बयान में कहा था कि एक दो नहीं बल्कि बृजभूषण सिंह ने एक हजार लड़कियों का यौन शोषण किया है। हालांकि बृजभूषण शरण सिंह का कहना है कि वो निर्दोष हैं जांच के बाद सब कुछ सामने आ जाएगा। दरअसल, आरोपों के बाद वो एक टीवी न्यूज चैनल से बात कर रहे थे। इसी दौरान उनसे सवाल पूछा गया कि कुछ लोगों का दावा है कि आपने १००० लड़कियों का यौन शोषण किया है। इसके जवाब में बृजभूषण शरण सिंह ने अजीब ही बयान दिया है। उन्होंने कहा कि क्या मैं शिलाजीत की रोटियां खाता हूं? बृजभूषण सिंह ने कहा है कि पहले वो लोग आरोप लगा रहे थे कि १०० बच्चों का यौन शोषण हुआ है। फिर वो कहने लगे कि १००० बच्चों का शोषण हुआ है। क्या मैंने शिलाजीत की रोटी खाई है।
भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ पहलवानों का चल रहा विरोध प्रदर्शन दिन पर दिन गरमाता दिख रहा है। ७ महिला पहलवानों ने बृजभूषण पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है जिसमें एक नाबालिग भी शामिल है। बृजभूषण ने कहा, `ये लोग जंतर-मंतर से चले जाएं तो मैं इस्तीफा दे दूंगा। जंतर-मंतर पर धरना दे रहे पहलवान राजनीति से प्रेरित हैं।’
वहीं, जंतर-मंतर पर बैठे पहलवान बृजभूषण की गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि बृजभूषण के खिलाफ मुकदमा दर्ज हो चुका है और अब उसकी गिरफ्तारी हो। पहलवानों के इस धरना प्रदर्शन को अब राजनीतिक समर्थन भी मिल रहा है। एक ओर जहां कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने जंतर-मंतर पहुंच कर अपना समर्थन दिखाया वहीं आम आदमी पार्टी अध्यक्ष अरविंद केजरीवाल ने पहलवानों से मुलाकात की।
पुलिस ने पहलवानों को मुहैया कराई सुरक्षा
सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद दिल्ली पुलिस द्वारा भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष व भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने वाली किशोरी समेत सात महिला पहलवानों को शनिवार को पुलिस सुरक्षा मुहैया करा दी गई है। उनकी सुरक्षा में नई दिल्ली जिले से एक-एक सिपाही को तैनात किया गया है। इनकी ड्यूटी १२-१२ घंटे की होगी।
राजनीतिक अखाड़ा बना धरना स्थल
अपनी मांगों को लेकर २३ अप्रैल को फिर से धरने पर बैठे पहलवानों को इस बार देश भर के राजनीतिक दलों का समर्थन मिल रहा है। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत, नवजोत सिंह सिद्धू से पहले दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल, आतिशी, सौरभ भारद्वाज, पूर्व राज्यपाल सत्यपाल मलिक, प्रियंका गांधी, जयंत चौधरी,दीपेंद्र हुड्डा समेत तमाम राजनीतिक दलों के बड़े नेता पहलवानों का समर्थन के लिए धरनास्थल पर पहुंचे थे।

पहलवानों को मिला सिद्धू का साथ
दिल्ली के जंतर मंतर पर अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे पहलवानों का धरना ९वें दिन भी जारी है। जैसे-जैसे पहलवानों का यह धरना आगे बढ़ रहा है वैसे-वैसे धरने पर बैठे पहलवानों को अन्य एथलीट्स और राजनेताओं का समर्थन में मिल रहा है। सोमवार को पहलवानों के समर्थन में उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत और कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू धरना स्थल पर पहुंचे हैं, जहां उन्होंने महिला पहलवानों समेत धरने पर बैठे पहलवानों से बातचीत की और सरकार से पहलवानों के साथ न्याय करने की बात कही।

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