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हरियाणा चुनाव से पहले हुड्डा पर ईडी का शिकंजा! …पूर्व कांग्रेसी मुख्यमंत्री के करीबी की जब्त की गई संपत्ति 

दबाव की राजनीति का ताना-बाना बुनना हुआ शुरू

सामना संवाददाता / चंडीगढ़ 
हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा अब ‘ईडी सरकार’ के निशाने पर आ गए हैं। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने एक्शन लेते हुए हुड्डा के करीबी की एमार और एमजीएफ डेवलपमेंट लिमिटेड सहित अन्य आरोपियों के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में ८३४ करोड़ रुपए की संपत्ति को कुर्क किया है। इसी के साथ ही अब यह चर्चा आम हो गई है कि आगामी चुनाव को देखते हुए एक बार फिर से भाजपा ने दबाव की राजनीति का ताना-बाना बुनना शुरू कर दिया है, जिसके मद्देनजर हुड्डा पर ईडी अपना शिकंजा कस रही है।
लोकसभा चुनाव से उत्साहित है कांग्रेस
बता दें कि हरियाणा में एक अक्टूबर को वोट डाले जाएंगे। इससे पहले बीजेपी विपक्षी कांग्रेस के खिलाफ माहौल बनाकर बड़ा मुद्दा बना रही है, वहीं लोकसभा चुनाव में बड़ी सफलता से उत्साहित कांग्रेस हरियाणा में बेरोजगारी, अग्निवीर और अपराध जैसे मुद्दे गिनाकर वोट मांग रही है।

हुड्डा ने किया इनकार 
ईडी का कहना है कि एमार और एमजीएफ भूपेंद्र सिंह हुड्डा और डायरेक्टर डीटीसीपी त्रिलोक चंद गुप्ता के साथ मिलकर इन इलाकों में सस्ते दामों में जमीन खरीदी थी। इस कारण न केवल उन लोगों को नुकसान हुआ, जिनकी जमीनें हड़पी गर्इं, बल्कि सरकार को भी नुकसान झेलना पड़ा। ईडी की कार्रवाई पर भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि यह पुराना मामला है, मेरा इससे कोई लेना-देना नहीं है।

सीएम पद के मजबूत दावेदार
हुड्डा हरियाणा की राजनीति में कांग्रेस का मजबूत चेहरा हैं। भूपेंद्र सिंह हुड्डा के कारण कुमारी शैलजा और रणदीप सिंह हुड्डा प्रदेश में सीएम पद की दावेदारी से बाहर हो गए हैं। प्रदेश प्रभारी दीपक बाबरिया ने यह एलान किया कि किसी सांसद को विधानसभा चुनाव का टिकट नहीं दिया जाएगा। बाबरिया ने कहा की ये पार्टी का पैâसला है और जो सांसद टिकट चाहते हैं वो पार्टी अध्यक्ष से बात कर सकते हैं। हमारा मत सांसदों को टिकट न देने का है।

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