• पॉलिसी डिसीजन अलग मामला है और मनी ट्रेल अलग है।
• आपके हलफनामे में मनी ट्रेल पर स्पष्टता नहीं है।
• साफ-साफ बताएं कि मनी ट्रेल कैसे स्थापित हो रही है?
सामना संवाददाता / नई दिल्ली
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को सीबीआई और ईडी द्वारा जांच की जा रही दिल्ली शराब नीति घोटाला के दो मामलों में आप नेता मनीष सिसोदिया की अंतरिम जमानत याचिका पर सुनवाई ४ सितंबर के लिए टाल दी। साथ ही कोर्ट ने ईडी से पैसे के लेनदेन को लेकर स्थिति स्पष्ट करने को कहा है। जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस एसवीएन भट्टी की बेंच ने मनीष सिसोदिया की पत्नी की मेडिकल रिपोर्ट देखने के बाद कहा कि वे काफी ठीक हैं और इसलिए पीठ सिसोदिया की अंतरिम जमानत याचिका की सुनवाई उनकी नियमित जमानत याचिकाओं की सुनवाई के साथ ही करेगी।
सिसोदिया ने मांगी अंतरिम जमानत
मालूम हो कि सिसोदिया ने पत्नी की बीमारी को आधार बनाकर अंतरिम जमानत मांगी थी। इससे पहले १४ जुलाई को हुई सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने ईडी और सीबीआई से सिसोदिया की अंतरिम जमानत पर जवाब मांगा था।
सीबीआई ने २६ फरवरी २०२३ को सिसोदिया को शराब घोटाला में गिरफ्तार किया था। तब से वह जेल में ही हैं। वहीं ईडी ने शराब घोटाला मामले में ही मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप में सिसोदिया को ९ मार्च को गिरफ्तार किया था। इससे पहले ईडी ने उनसे तिहाड़ जेल में ही पूछताछ की थी। दिल्ली हाईकोर्ट ने सिसोदिया को सीबीआई केस में ३० मई को जमानत देने से इनकार कर दिया था। उच्च न्यायालय ने कहा था कि वह एक हाई प्रोफाइल व्यक्ति हैं और गवाहों को प्रभावित करने की क्षमता रखते हैं। इसके बाद हाईकोर्ट ने तीन जुलाई को ईडी मामले में भी सिसोदिया को बेल देने से इनकार करते हुए कहा था कि उनके ऊपर लगे आरोप बेहद गंभीर हैं।
ईडी पैसे के लेनदेन पर दाखिल करे हलफनामा- कोर्ट
कोर्ट ने अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू से मामले में पैसे के लेन-देन से जुड़े पहलुओं पर स्पष्ट तस्वीर देने को भी कहा। कोर्ट ने कहा कि एजेंसी के हलफनामे में इन पहलुओं से जुड़ी स्पष्ट तस्वीरें नहीं दी गई हैं। अब अदालत ने प्रवर्तन निदेशालय को मामले में हलफनामा दाखिल करने के लिए और समय भी दिया।