सामना संवाददाता / मुंबई
विधानसभा चुनाव में इस बार महाविकास आघाड़ी के सामने महायुति की हालत पतली है। इस बात का एहसास देवेंद्र फडणवीस को हो गया है। इसलिए फडणवीस ने बातों ही बातों में स्वीकार कर लिया है कि अब मेरी मुख्यमंत्री बनने की ख्वाहिश नहीं रही। एक टीवी चैनल के साथ बातचीत में उन्होंने यह बात कही है। इससे राजनीतिक गलियारों में इस तरह की चर्चाएं चल रही हैं कि फडणवीस को लग गया है कि मुख्यमंत्री बनना मुश्किल ही नहीं, बल्कि नामुमकिन है।
बता दें कि एक टीवी चैनल के कार्यक्रम में भाजपा नेता व पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि अब उन्हें सीएम बनने की ख्वाहिश नहीं है। उन्हें पार्टी कोई भी पद देगी, वह काम करेंगे। देवेंद्र फडणवीस की इस बात को लेकर चर्चा गर्म हो गई है कि चुनाव से पहले ही फडणवीस हताश हो गए हैं। उनके बयान का मतलब है कि महाराष्ट्र में महायुति की सरकार नहीं आ रही है इसलिए वे खुद को सीएम की रेस से बाहर कर रहे हैं। महाराष्ट्र की राजनीति में २०१४ से केंद्र बिंदु रहे देवेंद्र फडणवीस ने मुख्यमंत्री पद को लेकर अब यह महत्वपूर्ण बयान दिया है। हालांकि, बाद में अपनी गलती का एहसास होने के बाद देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि महायुति को पूर्ण बहुमत मिलेगा और महायुति सत्ता में आएगी।
फडणवीस ने कहा कि अब उन्हें सीएम बनने की ख्वाहिश नहीं है। उन्हें पार्टी कोई भी पद देगी, वह काम करेंगे। देवेंद्र फडणवीस की इस बात को लेकर चर्चा गर्म हो गई है कि चुनाव से पहले ही फडणवीस हताश हो गए हैं।