-२०२४ के बाद २०२७ का गणित भी गड़बड़ाया
सामना संवाददाता / मुंबई
लोकसभा चुनाव में खासकर उत्तर प्रदेश में मिली करारी हार ने बीजेपी को गहरे जख्म दिए हैं, जिसके चलते संगठन से लेकर सरकार तक चिंता में है। भाजपा को इतना बड़ा झटका कैसे लगा, इसका कारण तलाशने के लिए उत्तर प्रदेश भाजपा मंथन कर रही है। सीएम योगी इसके लिए ग्राम स्तर पर अध्ययन करने में जुटे हैं।
लोकसभा चुनाव २०२४ में भाजपा की हार के बाद अब २०२७ में होनेवाले विधानसभा चुनाव का गणित भी गड़बड़ा गया है। यही वजह है कि यूपी के सीएम योगी घबराए-घबराए नजर आ रहे हैं। पहले भाजपा के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष के तीन दिन तक लखनऊ में कैंप करके हार के कारण पता लगाने के लिए विचार-विमर्श किया गया और अब सीएम योगी आदित्यनाथ लोकसभा सीटवाइज विधायक-सांसद और उस इलाके से आने वाले मंत्रियों के साथ बाचतीत करके नतीजों की वजह और समाधान की राह तलाश रहे हैं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हर रोज अलग-अलग मंडल के विधायक, सांसद और क्षेत्र के नेताओं के साथ बातचीत कर रहे हैं। इस दौरान भाजपा ही नहीं बल्कि सहयोगी दलों के जनप्रतिनिधियों के साथ भी बैठक कर रहे हैं। यूपी में अभी तक सीएम योगी सूबे के १० से ज्यादा मंडलों की लोकसभा सीटों के नेताओं के साथ विधानसभावार मंथन कर चुके हैं। योगी आदित्यनाथ अपने आवास पर हर रोज एक से दो मंडल के नेताओं के साथ बैठक कर रहे हैं। यूपी के अवध, पूर्वांचल और बुदंलेखंड क्षेत्र की लोकसभा सीटों को लेकर उन क्षेत्रों के नेताओं के साथ मुख्यमंत्री मंथन कर चुके हैं और अब बारी पश्चिमी यूपी के इलाकों की है।