सामना संवाददाता / मुंबई
आगामी विधानसभा चुनाव के लिए महाविकास आघाड़ी ने मोर्चा बनाना शुरू कर दिया है। साथ ही महाविकास आघाड़ी विधानसभा चुनाव भी साथ मिलकर लड़ने पर अडिग है। एनसीपी (शरदचंद्र पवार) अध्यक्ष शरद पवार ने स्पष्ट किया है कि हम सीटों पर जोर नहीं देंगे, हमारी प्राथमिकता राज्य में स्थिर सरकार लाना है इसलिए राज्य में महाविकास आघाड़ी मजबूत स्थिति में है। वहीं महायुति में महाबिगाड़ी की तस्वीर दिखाई दे रही है।
उपमुख्यमंत्री अजीत पवार ने पुणे में अपने दम पर मनपा चुनाव लड़ने की घोषणा की है, जिसकी चर्चा राजनीतिक गलियारों में हो रही है। दादा ने पिंपरी-चिंचवड़ में हुई एक बैठक में यह एलान किया। हमने लोकसभा चुनाव साथ लड़ा, अब विधानसभा चुनाव भी साथ लड़ेंगे। हालांकि, दादा ने घोषणा की कि आगामी महानगरपालिका चुनाव स्वतंत्र रूप से लड़ा जाएगा। अत: यह स्पष्ट है कि महायुति केवल विधानसभा के लिए है और यह भी स्पष्ट है कि स्थानीय स्वराज्य संस्था का चुनाव में अजीत पवार गुट स्वतंत्र रूप से मैदान में उतरेगा और ऐसी भी चर्चा है कि महायुति में सबकुछ ठीक -ठाक नहीं चल रहा है। दादा गुट ने लोकसभा चुनाव में सीटों की हार का ठीकरा बीजेपी पर फोड़ा। साथ ही बीजेपी में यह भी चर्चा है कि दादा को साथ लेने से पार्टी को नुकसान हुआ है। इसलिए दादा मनपा का चुनाव अपने दम पर लड़ने का एलान अहम माना जा रहा है। अजीत पवार ने कार्यकर्ताओं से एलान किया कि भले ही हम लोकसभा-विधानसभा साथ मिलकर लड़ रहे हैं, लेकिन स्थानीय स्वराज्य संस्था का चुनाव हम अपने दम पर लड़ना चाहते हैं। इसलिए यह स्पष्ट है कि महायुति मनपाओं के चुनाव में एकजुट नहीं होगी।