मुख्यपृष्ठनए समाचारमोहे नींद न आए! ... देर रात तक जागना है खतरनाक

मोहे नींद न आए! … देर रात तक जागना है खतरनाक

• ९% बढ़ जाता है मौत का खतरा
• नए अध्ययन में हुआ खुलासा
आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में सुकून की नींद बहुत मुश्किल से मिल पाती है। शहरों में तो लोग रात को देर से सोते हैं और सुबह भी देरी से जागते हैं। पर सोने-जागने के मामले में ये देरी सेहत के लिए काफी नुकसानदेह हो सकती है। एक हालिया रिपोर्ट के अनुसार, रात को देर से सोने और सुबह लेट से जागने वाले व्यक्तियों में, इन आदतों के कारण, असमय मौत का खतरा अधिक हो सकता है। ‘फिनिश इंस्टीट्यूट ऑफ ऑक्यूपेशनल हेल्थ’ ने करीब ३० वर्षों तक यह शोध किया।
शोध डेटा में शिक्षा, शराब, धूम्रपान, बॉडी मास इंडेक्स और नींद की अवधि जैसे कारकों को शामिल किया गया। अध्ययन में पाया गया कि मुख्य रूप से तंबाकू और शराब के अधिक सेवन के कारण रात में जागने वाले लोगों को सुबह उठने वाले लोगों की तुलना में जल्दी मृत्यु का जोखिम लगभग ९ फीसदी बढ़ जाता है।
ब्राइट स्क्रीन से रहें दूर
स्लीप मेडिसिन विशेषज्ञों का सुझाव है कि जीवन शैली को बदलना काफी जरूरी है। जैसे कि सुबह में खुद को तेज रोशनी में अचानक उजागर करने से बचना चाहिए। रात में ब्राइट स्क्रीन के संपर्क को सीमित करना चाहिए और जल्दी खाना खा लेना चाहिए। यह नींद के समय को बदलने में भी मदद कर सकता है। नॉर्थवेस्टर्न यूनिवर्सिटी फीनबर्ग स्कूल ऑफ मेडिसिन के डॉ. फिलिस जी ने कहा कि अगर रात में जागना आपको परेशान करता है तो कई ऐसी चीजें हैं, जो आप रात से दिन में स्विच कर सकते हैं। हालांकि, यह ध्यान रखना जरूरी है कि व्यक्ति अपनी जन्मजात नींद के क्रम को पूरी तरह से नहीं बदल सकता है।

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