मिथुन चक्रवर्ती और योगिता बाली के बड़े बेटे मिमोह चक्रवर्ती की फिल्म ‘जियो’ पर रिलीज हुई है। अपनी मां योगिता बाली की तरह ही खूबसूरत दिखनेवाले मिमोह के साथ फिल्म में अलिना राय, निकिता शाह और यशराज जैसे कलाकार भी काम कर रहे हैं। पेश है, मिमोह चक्रवर्ती से पूजा सामंत की हुई बातचीत के प्रमुख अंश-
• आपका जिक्र अकसर महाअक्षय नाम से होता रहा है?
महाअक्षय मेरा रियल नेम है। मेरे पासपोर्ट, पैन व आधार कार्ड पर मेरा नाम महाअक्षय ही है। मिमोह मेरा निक नेम है। महाअक्षय के नाम से मुझे कोई नहीं बुलाता। मिमोह नाम से मैंने शुरुआत की थी लेकिन मुझे लगा कि अपने ओरिजिनल नाम महाअक्षय से मुझे अपनी पहचान बनानी चाहिए। इसलिए मैंने अपना स्क्रीन नेम महाअक्षय रख दिया। लेकिन बाद में एहसास हुआ कि महाअक्षय नाम बड़ा है। मेरे नाम मिमोह से सभी परिचित हैं इसलिए मैंने अपना नाम हमेशा के लिए मिमोह रख दिया।
• फिल्म ‘रोष’ करने की वजह क्या रही?
फिल्म के लेखक-निर्देशक जयवीर ने जब मुझे नैरेशन दिया तो मुझे एहसास हुआ कि यह फिल्म एक जबरदस्त हॉरर और थ्रिलर है। मैं हॉरर फिल्मों का शौकीन रहा हूं लेकिन इससे पहले मैंने इतनी दिलचस्प कहानी कभी नहीं सुनी थी। कहानी सुनकर मैं प्रभावित हुआ और मैंने इस फिल्म को करना चाहा।
•इसके लिए आपको क्या होमवर्क करना पड़ा?
फिल्म में यशराज और मेरा किरदार एक-दूसरे से कॉन्ट्रास्ट है। मेरा किरदार बहुत चौंकाता है। यशराज के विपरीत दिखने के लिए मुझे अपनी बॉडी पर काफी वर्क करना पड़ा। इस किरदार में फिजिकली स्ट्रॉन्ग दिखना जरूरी था।
• अपनी डेब्यू फिल्म ‘जिम्मी’ के बाद आप फिल्मों से ओझल क्यों हो गए?
दिल बहलाने के लिए मैं झूठ बोल सकता हूं कि मैंने फिल्मों से ब्रेक लिया था। लेकिन मैं हरगिज झूठ नहीं बोलूंगा। मैंने कोई ब्रेक नहीं लिया था। मैं तो फिल्में करना चाहता था लेकिन मुझे काम नहीं मिला। मेरी डेब्यू फिल्म ‘जिम्मी’ की असफलता के बाद मुझे फिल्में नहीं मिलीं।
• आपके स्टार पिता मिथुन चक्रवर्ती ने आपको क्यों नहीं लॉन्च किया?
अपने बच्चों को फिल्मों में लॉन्च करना अब पहले जैसा आसान नहीं है। हम कुल तीन भाई और एक बहन हैं। अगर मुझे लॉन्च करते तो मेरे छोटे भाइयों को भी लॉन्च करना बनता है न? एक्टिंग का हुनर सभी में है। रही बात मेरे लॉन्चिंग की तो मैंने जब मैंने घर पर बताया कि मुझे एक्टिंग में जाना है, तो मम्मी-पापा ने समझाया कि हम तुम्हें लॉन्च नहीं करेंगे, बल्कि तुम्हें अपना रास्ता खुद बनाना होगा।
• तो क्या मिथुन चक्रवर्ती का बेटा होने का आपको कोई लाभ नहीं हुआ?
बॉलीवुड में पिछले कुछ सालों से नेपोटिज्म की काफी बातें हो रही हैं, लेकिन नेपोटिज्म का मैं सबसे बड़ा उदहारण हूं। वंशवाद अस्तित्व में नहीं है, वरना मिथुन चक्रवर्ती और योगिता बाली के बेटे को बिना काम के घर बैठना पड़ता? अगर नेपोटिज्म होता तो क्या हर चौथी पांचवीं फिल्म में मैं नहीं होता? बॉलीवुड में हर साल लगभग ९०० से १,००० फिल्में रिलीज होती हैं, मेरे हिस्से उनमें से ७-८ फिल्में नहीं होतीं?
• मिथुन का बेटा होने का आखिर आपको क्या लाभ हुआ?
स्टार का बेटा होने का लाभ यही होता है कि आप फिल्ममेकर्स को डायरेक्ट फोन कर सकते हैं। यह ‘रिच’ आसान होती है। इंडस्ट्री के बाहर के बच्चों के लिए यह भी संभव नहीं होता। फिर वे हर दिन निर्माताओं को मिलने के लिए संघर्ष करते हैं, उनसे मिलने के लिए धक्के खाते हैं, लेकिन मुलाकात नहीं हो पाती। स्टार्स के बच्चों के लिए आसान सिर्फ यही तक होता है कि वे फिल्ममेकर्स को संपर्क कर सकते हैं, जो न्यू कमर्स नहीं कर सकते।
• आपको पहले काम नहीं मिला लेकिन अब काम मिलने पर वैâसा महसूस हो रहा है?
मेरे छोटे भाई नमोशी की भी फिल्म आ रही है। हमारे पूरे परिवार के लिए यह खुशी की बात है। मुझे बेहद खुशी है कि मुझे मेरे संघर्ष और सब्र का मीठा फल मिला है। मैंने अभी तक जो भी फिल्में पाई हैं, खुद ऑडिशन दे देकर।