मुख्यपृष्ठस्तंभमध्यांतर : मुफ्त की ‘रेवड़ियां' देने की गारंटी!

मध्यांतर : मुफ्त की ‘रेवड़ियां’ देने की गारंटी!

प्रमोद भार्गव

मध्य प्रदेश में मतदाताओं को मुफ्त की रेवड़ियां गारंटी के साथ बांटने की होड़ लगी है। यह गारंटी भाजपा तो पिछले तीन माह से देने में लगी ही है, अब आम आदमी पार्टी के मुखिया और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल भी प्रदेश में उनकी सरकार बनती है तो ‘रेवड़िया’ं बांटने की गारंटी ग्वालियर की धरती से बीते शनिवार को दे गए। उनके साथ पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान भी थे। लिहाजा दोनों मुख्यमंत्रियों ने दिल्ली और पंजाब सरकारों की तर्ज पर ‘रेवड़िया’ं बांटने की गारंटियां दीं। साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर अपने अंदाज में रेवड़ियों को लेकर ही तीखे कटाक्ष भी किए। दरअसल, इसी दिन प्रधानमंत्री का कार्यक्रम मध्यप्रदेश के आदिवासी बहुल जिले शहडोल में भी था। उन्होंने अपनी गारंटियों को तो नागरिकों के लाभ का हिस्सा बताया, लेकिन कांग्रेस और आप द्वारा दी गई गारंटियों को देश और राज्य को बर्बाद कर देने का उपाय बताया। बहरहाल गारंटियों की इस लोक-लुभावन होड़ में कौन बाजी मारता है यह तो वक्त ही बताएगा, लेकिन आखिरकार ये मुफ्त की ‘रेवड़िया’ं सरकारी खजाना तो खाली करेंगी ही, सुचारू रूप से चल रही नल-बिजली जैसी बुनियादी सुविधाओं को भी पलीता लगाने वाली साबित हो सकती हैं।
अरविंद केजरीवाल ने ग्वालियर में विशाल आमसभा में मतदाताओं को लुभाने की दृष्टि से सात प्रकार की बुनियादी सुविधाएं मुफ्त में देने की घोषणा की। पहली गारंटी देते हुए उन्होंने कहा कि दिल्ली और पंजाब में २४ घंटे जिस तरह से बिजली नि:शुल्क दी जा रही है, वह मध्यप्रदेश में भी दी जाएगी। दूसरे, सब जल उपभोक्ताओं को मुफ्त में पानी मिलेगा। तीसरे, प्रदेश में मोहल्ला क्लीनिक खोलकर सभी रोगियों का मुफ्त इलाज किया जाएगा। चौथे महिलाओं को सरकारी और निजी बसों में नि:शुल्क यात्रा की सुविधा दी जाएगी। पांचवी, सभी वर्ग के बच्चों के लिए शिक्षा नि:शुल्क होगी। जिस तरह से दिल्ली में उत्तम विद्यालय, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के साथ अस्तित्व में लाए गए हैं, वही पद्धति प्रदेश में लागू होगी। अमीर और गरीब के बच्चे एक साथ पढ़ेंगे। छठवीं, प्रत्येक परिवार के बुजुर्गों को नि:शुल्क तीर्थ यात्रा कराई जाएगी। सातवीं, युवाओं के रोजगार के पुख्ता इंतजाम किए जाएंगे। पंजाब में अब तक तीस हजार युवाओं को नौकरियां दी जा चुकी हैं और तीन लाख को देने की तैयारियां चल रही हैं।
केजरीवाल ने कहा जब मैं नि:शुल्क सुविधाएं देने की गारंटी देता हूं तो प्रधानमंत्री मुझसे नाराज होकर बोलते हैं कि मैं प्रâी की रेवड़ियां बांट रहा हूं। मैं उनसे हाथ जोड़कर कहता हूं कि हां देता हूं आपको क्या तकलीफ है? यदि मैंने निराश चेहरों पर मुस्कान ला दी है तो कौन सी गलती कर दी। आपने तो सरकारी खजाने का धन अपने दोस्तों को बांट दिया। मुबंई के एक दोस्त को ३४ हजार करोड़ रुपए का तो गुजरात के मित्र को २२ हजार करोड़ रुपए का कर्ज माफ कर दिया। इस तरह आप कुल ११ लाख करोड़ रुपए बड़े उद्योगपतियोें के माफ कर चुके हैं। दूसरी तरफ आप दूध, छाछ, पनीर, तेल, आटा, चावल और अन्य भोजन की सामग्री पर कर लगाकर गरीब की थाली को महंगा करने में लगे हैं। अब मैं सात राहत की रेवड़ियां बांटने की गारंटी दे रहा हूं, तो क्या कोई गुनाह कर रहा हूं।
अब केजरीवाल जो भी कहें, लेकिन, लोगों का कहना है कि उनके द्वारा रेवड़ियां बांटने से दिल्ली सरकार का खजाना खाली हो चुका है। जानकार कहते हैं कि केजरीवाल ने रेवड़ियां तो बांटी ही, करोड़ों रुपए मीडिया को विज्ञापन देकर भी खर्च किया। इस कारण ‘रीजनल रेपिड ट्रांजिट सिस्टम‘ (आरआरटीएस) परियोजना खटाई में पड़ गई। इस परियोजना से दिल्ली को राजस्थान और हरियाणा से जोड़ा जाना है। इस मामले को लेकर सर्वोच्च न्यायालय ने दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए पिछले तीन वित्तीय वर्षों में दिए विज्ञापन खर्च का हिसाब मांगा है। दरअसल, इस परियोजना के लटक जाने के कारण दिल्ली सरकार के वकील ने न्यायामूर्ति एस.के. कौल और सुधांशु धूलिया की पीठ को बताया कि सरकार के पास धन का अभाव है। इसलिए परियोजना को आर्थिक सहायता देने में मुश्किलें पेश आ रही हैं। अब केजरीवाल से पूछिए कि मुफ्त में रेवड़ियां बांटेगे तो खजाना तो खाली होगा ही, बुनियादी सुविधाएं भी अधर में लटकी रहेंगी।
करीब तीन लाख करोड़ के कर्ज में डूबी मध्य प्रदेश सरकार भी मतदाताओं को लुभाने के लिए न केवल रेवड़ियां बांटने की गारंटी दे रही है, बल्कि करीब सवा करोड़ महिलाओं को लाडली बहना योजना के अंतर्गत १,२०० करोड़ रुपए की धनराशि पिछले माह से बांटना शुरू भी कर दिया गया है। इन महिलाओं को १,००० रुपए प्रतिमाह देने का सिलसिला शुरू हो चुका है। यदि सरकार फिर से सत्ता में आती है तो भाजपा के वादे के अनुसार यह राशि बढ़ाकर तीन हजार रुपए करने की गारंटी लाडले भाई शिवराज ने लाडली बहनों को दी है। इसके अलावा भी मुफ्त की अनेक योजनाओं की घोषणा मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान कर चुके हैं। इसके बावजूद नरेंद्र मोदी ने शहडोल में आप और दूसरे विपक्षी दलों की मुफ्त गारंटी योजनाओं को राज्य की अर्थव्यवस्था चौपट करने वाली बताया। उन्होंने कहा कि मुफ्त बिजली देने का मतलब है, बिजली के दाम बढ़ाना। मुफ्त यातायात सुविधा देने का मतलब है, सरकारी परिवहन व्यवस्था बर्बाद करना। पेंशन की गारंटी देने का अर्थ है, भविष्य में कर्मचारियों को समय पर वेतन का न मिलना। सस्ता पेट्रोल देने के मायने हैं, अतिरिक्त कर लगाकर उपभोक्ता की जेब से पैसा निकालना। रोजगार गारंटी का मतलब है उद्योग-धंधे चौपट कर देना। हालांकि यह सब कुछ कहते वक्त उन्होंने अपनी ही पार्टी के मुख्यमंत्री की ‘रेवड़ियों’ पर गौर नहीं किया, न ही उल्लेख किया। ऐसे में मध्य प्रदेश की जनता पीएम की हिदायत के बाद ‘रेवड़ियों’ से कितना परहेज करेगी, यह तो वक्त ही बताएगा।
(लेखक वरिष्ठ साहित्यकार और पत्रकार हैं।)

अन्य समाचार

बोले तारे