सामना संवाददाता / नई दिल्ली
एक रिपोर्ट में बताया गया है कि बड़ी संख्या में हिंदुस्थानी करोड़पति देश छोड़कर विदेशों में बस रहे हैं। आंकड़ों के अनुसार, इस साल करीब ४,३०० भारतीय करोड़पति देश छोड़ सकते हैं। इसमें से अधिकांश का ठिकाना दुबई या फिर अमेरिका हो सकता है। एक इंटरनेशनल फर्म हेनली एंड पार्टनर्स की रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछले साल भारत छोड़ने वाले धनी लोगों की संख्या ५,१०० थी। वहीं साल २०२२ में ८,००० भारतीय करोड़पतियों ने भारत छोड़ा था। इस साल विश्वस्तर पर कुल १,२८,००० करोड़पतियों के उनके देश छोड़ने का अनुमान लगाया गया है।
अगर २०२३ से इसकी तुलना करें तो ये आंकड़ा बढ़ा है। पिछले साल कुल १,२०,००० करोड़पतियों ने अपना देश छोड़ा था, जबकि कोरोना से पहले २०१९ में ये आंकड़ा १,१०,००० था। लगातार बढ़ रहे पलायन को लेकर कांग्रेस ने मोदी सरकार को घेरा है।
रईसों की पहली पसंद बना यूएई
रिपोर्ट के अनुसार, पलायन करने वाले भारतीयों की पहली पसंद संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) है। अमेरिका कई सालों तक धनी लोगों की पहली पसंद बना रहा, लेकिन अब यूएई हो गया है।
रिपोर्ट में बताया गया है कि इस साल ६,७०० करोड़पति यूएई में बस सकते हैं, जबकि अमेरिका में ३,२०० करोड़पति के बसने का अनुमान लगाया गया है। इसके बाद नंबर सिंगापुर का है, जहां करीब ३,५०० करोड़पतियों के जाने की उम्मीद है।
पलायन चिंता का विषय- कांग्रेस
पलायन को लेकर कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने सोशल मीडिया के प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर पोस्ट कर आरोप लगाते हुए कहा कि एक ग्लोबल इंवेस्टमेंट माइग्रेशन एडवाइजरी फर्म ने खुलासा किया है कि पिछले तीन सालों में १७,००० से अधिक करोड़पतियों ने भारत छोड़ दिया। इन लोगों की कुल संपत्ति एक मिलियन डॉलर से अधिक है। ऐसा इसलिए हो रहा है, क्योंकि टैक्स पॉलिसी और मनमाने टैक्स के कारण भारत के कॉर्पोरेट पिछले १० सालों से डर और धमकी का सामना कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि भारत के बड़े-बड़े बिजनेस पर्सनालिटी देश छोड़कर सिंगापुर, यूएई, ब्रिटेन और अन्य जगहों पर जाकर बस रहे हैं। इस तरह से लोगों का पलायन होना चिंता का विषय है।
४,३०० लोग इस साल छोड़ सकते हैं देश
५,१०० अमीरों ने पिछले साल किया था पलायन
८,००० करोड़पतियों ने २०२२ में ली दूसरे देश की नागरिकता