-पात्रता प्रमाण पत्र नवीनीकरण विलंब शुल्क से आक्रोश
सामना संवाददाता / मुंबई
केंद्र की मोदी सरकार के तुगलकी फैसले से हर वर्ग के लोग परेशान हैं, जिसे लेकर अलग-अलग प्रकार से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। अब मुंबई के ऑटोरिक्शा चालक-मालिक संघ ने भी केंद्र सरकार की गलत नीतियों के खिलाफ आवाज बुलंद कर दी है। ऑटोरिक्शा के लिए लगनेवाले पात्रता प्रमाण-पत्र नवीनीकरण में देरी के लिए केंद्र सरकार ने विलंब शुल्क लगाने का निर्देश दिया है, जिसे लेकर ऑटोचालक मालिकों में भारी आक्रोश है और इन सभी लोगों ने मिलकर मोदी सरकार के खिलाफ आंदोलन का पैâसला किया है।
केंद्रीय परिवहन विभाग के इस नए नियम के खिलाफ राज्य के रिक्शाचालकों ने आक्रामक रुख अपनाते हुए राज्यभर में विरोध प्रदर्शन करने का पैâसला किया है। बता दें कि मुंबई सहित राज्य में लगभग १.५ लाख से अधिक रिक्शा चालक-मालिक हैं। राज्य सरकार रिक्शा किराया दर, रिक्शा संचालन से संबंधित सभी नियम और शर्तें तय करती है। परेशान रिक्शाचालकों को कोरोना काल में भी सरकार ने १,५०० रुपए के अलावा कोई मदद नहीं की। कोरोना के बाद रिक्शाचालकों को काफी आर्थिक तंगी से गुजरना पड़ रहा है और अब वाहन फिटनेस प्रमाणपत्र की वैधता की तारीख से ५० रुपए प्रतिदिन विलंब शुल्क लिया जा रहा है। इसके चलते रिक्शा चालक-मालिक संघ ने ज्वाइंट एक्शन कमेटी के नेतृत्व में आज सोमवार से राज्यव्यापी आंदोलन करने का पैâसला किया है।
स्थानीय क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय और ग्रामीण क्षेत्रों में जिला कलेक्टर कार्यालय पर शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन किया जाएगा, जबकि मुंबई बस ओनर्स एसोसिएशन ने फिटनेस सर्टिफिकेट के अभाव में विलंब शुल्क लगाए जाने को लेकर कोर्ट में याचिका दायर की थी, जो खारिज हो गई।
-शशांक राव, अध्यक्ष ज्वाइंट एक्शन कमेटी