सामना संवाददाता / नई मुंबई
नई मुंबई के पनवेल, उरण सहित अन्य विधानसभा के कुल ८५,१२९ मतदाताओं के फर्जी नामों का मामला मुंबई हाई कोर्ट पहुंच गया है। बताया जाता है कि मतदाता सूची में कई मतदाताओं के नाम दो-दो बार हैं, साथ ही पते भी संदिग्ध हैं। इसे लेकर भारतीय शेतकरी कामगार (शेकाप) पार्टी ने मुंबई उच्च न्यायालय का रुख किया है। शेकाप के नेता और पूर्व विधायक बालाराम पाटील ने पनवेल के सहायक चुनाव निर्णय अधिकारी से इस बारे में मांग की थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होने पर उन्होंने हाई कोर्ट में याचिका दायर किया। पनवेल विधानसभा क्षेत्र राज्य के सबसे ज्यादा मतदाताओं वाले विधानसभा क्षेत्र में शामिल है। फिलहाल, इस क्षेत्र में ६ लाख ४२ हजार ५७ मतदाता हैं। पनवेल में छोटे-बड़े कई कारखाने चलते हैं। साथ ही एमआईडीसी इलाका भी है, जहां बड़ी संख्या में श्रमिक काम करते हैं। पाटील का कहना है कि जान-बूझकर लोगों के नाम फर्जी तरीके से बढ़ाए गए हैं।
पाटील ने फर्जी मतदाताओं के नामों की सूची को कम करने के लिए पनवेल के उपविभागीय अधिकारी, तहसीलदार को एक लिखित शिकायत सौंपी है। पाटील की मानें तो वर्तमान में मतदाता सूची में ऐसे मतदाताओं की संख्या २५ हजार ७७२ जिनके नाम दोबारा अंकित हैं, साथ ही ५८८ मतदाताओं के पते संदिग्ध हैं। पाटील ने इस बात की शिकायत स्थानीय अधिकारियों से की थी, लेकिन किसी ने इस तरफ ध्यान नहीं दिया, जिसकी वजह से उन्हें कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा।