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बिहार में न्यूक्लियर बम! … ८५० करोड़ की कैलिफोर्नियम जब्त

– न्यूक्लियर बम बनाने में आता है काम
सामना संवाददाता / पटना
बिहार में पिछले कई वर्षों से कानून-व्यवस्था खराब है। इसका फायदा वहां अराजकता फैलानेवाले लोग उठा रहे हैं। बिहार में पुलिस ने न्यूक्लियर बम बनानेवाले पदार्थ कैलिफोर्नियम जब्त किया है। इस रेडियो एक्टिव पदार्थ की जब्ती के बाद बिहार पुलिस के अलावा तमाम जांच एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। अंदेशा जताया जा रहा है कि ८५० करोड़ रुपए कीमत वाले ५० ग्राम वैâलिफोर्नियम को बड़ी संख्या में न्यूक्लियर बम बनाने के लिए लाया जा रहा था। डिपार्टमेंट ऑफ एटॉमिक एनर्जी और एफएसएल की विशेष टीम पदार्थ की जांच में जुट गई है।
यूपी कुशीनगर जिले के रहनेवाले हैं आरोपी
गोपालगंज के कुचायकोट थाना क्षेत्र के बल्थरी चेकपोस्ट पर पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर छापेमारी करते हुए बहुमूल्य रेडियोएक्टिव पदार्थ वैâलिफोर्नियम को जब्त किया है। इसके साथ ही तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इसमें एक तस्कर और दो लाइनर शामिल हैं। पुलिस अधीक्षक स्वर्ण प्रभात ने बताया कि गिरफ्तार किए गए अभियुक्तों में मुख्य तस्कर उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले के तमकुही राज थाना क्षेत्र निवासी स्वर्गीय चंद्रदेव प्रसाद का ४० साल का बेटा छोटे लाल प्रसाद है। इसके अलावा दोनों लाइनर नगर थाना क्षेत्र के कौशल्या चौक वॉर्ड नंबर २२ निवासी योगेंद्र साह का ४० साल का बेटा चंदन गुप्ता और महमदपुर थाना क्षेत्र के कुशहर मठिया निवासी हरेंद्र राम का २८ साल का बेटा चंदन राम है।
कैलिफोर्नियम एक बेहद महंगा रेडियो एक्टिव पदार्थ है और भारत में आम आदमी इसको खरीद या बेच नहीं सकता है। कैलिफोर्नियम धातु का प्रतीक सीएफ और परमाणु संख्या ९८ है। ट्रांसयूरेनियम एमिलमेंट्स में से एक वैâलिफोर्नियम चांदी के रंग जैसा दिखनेवाला धातु है। यह पदार्थ करीब ९०० डिग्री सेल्सियस पर पिघलता है। यह शुद्ध मुलायम होता है। न्यूक्लियर बम बनाने के अलावा इसका उपयोग इंडस्ट्रीयल फील्ड में भी किया जाता है। इसकी मदद से तेल के कुओं में पानी और तेल का लेयर का पता लगाया जाता है। इसके अलावा गोल्ड और सिल्वर के डिटेक्शन, पोर्टेबल मेटल डिटेक्टर में भी इसका उपयोग होता है। इसका उपयोग कैंसर चिकित्सा में भी होता है।

 

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