रमेश सर्राफ धमोरा झुंझुनू
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत हर वह कोशिश कर रहे हैं जो दोबारा सरकार बनाने में मददगार हो सकती है। एक के बाद एक योजनाओं की घोषणा और उन पर तेजी से अमल के क्रम में ही उन्होंने श्रीकृष्ण बोर्ड के गठन की घोषणा की है। आनेवाले दिनों में इस बोर्ड का पूरा रूप-स्वरूप सामने आ जाएगा। श्रीकृष्ण बोर्ड के जो शुरुआती टास्क सामने आए हैं उसके मुताबिक, यह बोर्ड श्रीकृष्ण मंदिरों के पुनरुद्धार का काम करेगा। बृज से शुरू होनेवाली चैरासी कोसीय परिक्रमा मार्ग के उस हिस्से को दुरुस्त करेगा जो राजस्थान में आता है। अपने इस दांव से गहलोत ने अलवर, सीकर और झुंझुनू जिले में रहने वाले यादव समाज के मतदाताओं को अपनी ओर खींचने की कोशिश की है। जब वे अहीर रेजीमेंट के लिए केंद्र को पत्र लिखने की बात करते हैं तो यह भी यादव मतदाताओं को साधने का प्रयास है। गहलोत इन दिनों विभिन्न समाज की बैठकें कर रहे हैं।
अकेले चलेगी बसपा
राजस्थान के आगामी विधानसभा चुनाव २०२३ में बहुजन समाज पार्टी सभी २०० सीटों पर उम्मीदवार उतारने की योजना बना रही है। २०१८ में बीएसपी को छह सीटें व चार प्रतिशत वोट मिले थे। बाद में बसपा के सभी विधायक कांग्रेस में शामिल हो गए थे। लेकिन इस बार बहुजन समाज पार्टी ने अपनी रणनीति में बदलाव किया है। बसपा के प्रदेशाध्यक्ष भगवान सिंह बाबा का कहना है कि पार्टी राजस्थान में सभी सीटों पर चुनाव लड़ेगी। मगर उनका मुख्य फोकस भरतपुर, धौलपुर, करौली, अलवर, दौसा, चूरू, झुंझुनू, हनुमानगढ़ और गंगानगर सहित नौ जिलों की ६० सीटों पर होगा। भगवान सिंह ने कहा बसपा का लक्ष्य किसी भी पार्टी को बहुमत का आंकड़ा हासिल नहीं करने देना है। इस तरह राज्य में पॉवर बैलेंस को सुनिश्चित करना है। मायावती के भतीजे और बीएसपी के राष्ट्रीय समन्वयक आकाश आनंद जुलाई में विधानसभा स्तर पर कार्यकर्ता सम्मेलन में हिस्सा लेंगे। आकाश आनंद को राजस्थान सहित सभी चुनाव वाले राज्यों का प्रभारी बनाया गया है।
कांग्रेस में होंगी नियुक्तियां
कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा ने कहा है कि संगठन के खाली पदों पर शीघ्र नियुक्तियां की जाएंगी। होने वाली नियुक्तियों की लिस्ट संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल को दे दी गई है। हम एक से दो जुलाई तक सालासर बालाजी मंदिर में विधायकों और विधायक उम्मीदवारों का सम्मेलन सह चिंतन शिविर कर रहे हैं। इसके बाद हम ब्लॉक अध्यक्षों का सम्मेलन करेंगे। फिर सभी मंडल अध्यक्षों का एक दिन का सम्मेलन बुलाकर पूरे दिन चर्चा करेंगे। सबसे लास्ट में हमारे सभी ५१ हजार से ज्यादा बूथ अध्यक्षों के साथ बैठक करेंगे। कांग्रेस में २६ जिलों में पिछले तीन साल से जिलाध्यक्ष नहीं हैं। उन पदों पर अब जल्द नियुक्तियों के आसार हैं। पिछले दिनों रद्द की गर्इं ८५ सचिवों की नियुक्तियां भी नए सिरे से होनी हैं। वेणुगोपाल के साथ बैठक में प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा, प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा और तीनों सह प्रभारी सचिवों ने सरकार के कामकाज और सियासी हालात पर फीडबैक दिया है।
रेस में पिछड़े अग्रवाल
ब्यूरोक्रेसी की सबसे बड़ी कुर्सी मुख्य सचिव बनने के लिए चल रही रेस अपने रोचक दौर में पहुंच गई है। अब तक ब्यूरोक्रेसी में वीनू गुप्ता, शुभ्रा सिंह, सुबोध अग्रवाल और अभय कुमार इन चार आईएएस अफसरों को इस दौड़ में सबसे आगे माना जा रहा था। लेकिन अब इन चार अफसरों में से सुबोध अग्रवाल का नाम बहुत पीछे चला गया है। वे टॉप ब्यूरोक्रेसी में तीसरे स्थान की सीनियरिटी पर हैं। अग्रवाल इस समय जलदाय और जल संसाधन महकमों के अतिरिक्त मुख्य सचिव हैं। भाजपा के राज्य सभा सांसद डॉ. किरोड़ीलाल मीणा खनन और जलदाय विभाग में कथित हजारों करोड़ रुपए के भ्रष्टाचार के आरोप लगाकर इनकी जांच ईडी-सीबीआई से कराने की मांग कर रहे हैं। इस बीच राज्य सरकार ने जांच के लिए एक कमेटी भी बनाई है। ऐसे में फिलहाल अग्रवाल का मुख्य सचिव बनना बेहद मुश्किल लग रहा है। यह आरोप कितने सच्चे हैं और कितने झूठ यह तो विस्तृत जांच होने के बाद ही पता चलेगा।
(लेखक राजस्थान सरकार से मान्यता प्राप्त स्वतंत्र पत्रकार हैं।
इनके लेख देश के कई समाचार पत्रों में प्रकाशित होते रहते हैं।)