दक्षिण मुंबई आर्थिक राजधानी की सबसे हाई प्रोफाइल लोकसभा सीट है। प्रमुख उद्योगपति, राजनेता, नौकरशाह यहीं बसते हैं। दक्षिण मुंबई क्षेत्र महाराष्ट्र का महत्वपूर्ण संसदीय क्षेत्र है। इस लोकसभा क्षेत्र में वर्ली, मलाबार समेत ६ विधानसभा क्षेत्रों को समाहित किया गया है। इस बार की लड़ाई ड्रामा का रूप ले चुकी है। महाविकास आघाड़ी में शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) ने दो बार से लगातार सांसद रहे अरविंद सावंत को फिर से मैदान में उतारा है। सावंत ने २०१४ और २०१९ में पूर्व सांसद मिलिंद देवड़ा को यहां से पराजित किया था। अब तक भाजपा ने यहां से किसी को भी प्रत्याशी घोषित नहीं किया है।
पिछले छह दशकों से ज्यादा समय से यह सीट लगभग कांग्रेस के पास ही रही है। भाजपा ने १९६२ के बाद से अब तक केवल दो बार १९९६ और १९९९ में यह सीट जीती है। हालांकि, १९६२ और २०१४ के बीच हुए १५ चुनावों में कांग्रेस ने आठ बार सीट जीती, लेकिन कांग्रेस इसे शिवसेना से २०१४ और २०१९ में नहीं जीत पाई। अब भाजपा की अब तक की लिस्ट में दक्षिण मुंबई पर सस्पेंस साफ नहीं हुआ है। खबर है कि महायुति गठबंधन में आकर मनसे भी दक्षिण मुंबई सीट को पाना चाहती है।
दक्षिण मुंबई में महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल
मुंबई महाराष्ट्र की राजधानी समेत देश की वाणिज्यिक राजधानी भी है। इस क्षेत्र में गेटवे ऑफ इंडिया है। इस प्रवेशद्वार के पास ही पर्यटकों के समुद्र भ्रमण हेतु नौका-सेवा भी उपल्ब्ध है। इसके अलावा यहां प्रसिद्ध मुस्लिम धार्मिक स्थल हाजी अली दरगाह है। इसे सय्यद पीर हाजी अली शाह बुखारी की स्मृति में सन् १४३१ में बनाया गया था। यह मुंबई का महत्वपूर्ण धार्मिक एवं पर्यटन स्थल भी है।
एक लाख वोटों के
अंतर से जीते थे सावंत
पिछले चुनाव में इस सीट से अरविंद गणपत सावंत को ४२१९३७ वोट मिले थे। निकटम प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के मिलिंद मुरली देवड़ा को हराया था। मिलिंद मुरली देवड़ा को ३,२१,८७० वोट मिले थे। हार का अंतर १,००,०६७ वोट का था। इस क्षेत्र में पुरुष मतदाता ८,५४,३६९ तो महिला मतदाता ६,९९,७८४ हैं। कुल मतदाता १५,५४,१७६ हैं।