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संडे स्तंभ : एक बंगला बने न्यारा …

विमल मिश्र
मुंबई में एक जमाना था, जब बॉलीवुड के तकरीबन सभी बड़े फिल्मी सितारों के पास खूबसूरत बंगले थे। अमिताभ बच्चन और शाहरुख खान सरीखे फिल्म स्टारों ने अब भी अपना बसेरा बंगलों में ही रखा है। यह अलहदा समृद्ध जीवन शैली अब चला – चली की बेला में है। बीते कुछ महीनों में ही बीते युग के तीन समकालीन शीर्ष नायकों दिलीप कुमार, राज कपूर और देव आनंद के बंगले कमर्शलाइजेशन की भेंट चढ़ गए।

२६ सितंबर को देश और दुनिया जब देव आनंद की जन्म शताब्दी मना रही होगी, जुहू का उनका बंगला शायद बिकने की अंतिम तैयारी में हो। ३५० – ४०० करोड़ रुपए की कीमत वसूल, के. रहेजा कॉर्पोरेट की २२ मं‌जिल की एक गगनचुंबी इमारत के लिए जगह खाली कर ‘आयरिश पार्क’ चुपचाप बीती यादों का हिस्सा बन जाएगा। फिल्मी बंगलों में देव आनंद का बंगला ही अकेला नहीं है। इसके साथ अपने समय फिल्मों की सबसे मशहूर तिकड़ी दिलीप कुमार और राज कपूर के बंगले भी बिक चुके हैं। राजेश खन्ना का ‘आशीर्वाद’ तो काया भी बदल चुका है। हिंदुस्थानी फिल्मों का यह सबसे सदाबहार हीरो जहां ४० वर्ष आबाद रहा, आज वह जुहू की सबसे गुलजार जगहों में से है। माधुरी दीक्षित सहित कई फिल्मवालों ने यहां घर बनाए हैं। पर, ‘५० के दशक में जब देव आनंद ने यह जगह खरीद अपने मन के मुताबिक बंगला बनवाया था, यहां बिलकुल बियाबान था। ‘आयरिश पार्क’ को देव आनंद ने अपने विशाल चित्रों और पोस्टरों से सजाया। नोबेल पुरस्कार विजेता पर्क एस. बक के स्वागत में उन्होंने पार्टी इसी बंगले में रखी थी। २०११ में लंदन में उनके देहांत के बाद इसकी देखभाल करने वाला कोई नहीं बचा। देव के पुत्र सुनील अमेरिका में रहते हैं, जबकि बेटी, मां के साथ ऊटी में। ‘आयरिश पार्क’ खरीदने वाले बिल्डर ने बी. आर. चोपड़ा का मशहूर बंगला भी खरीदा है।

राज कपूर की यादों का गुलदस्ता
चेंबूर में आर. के. स्टूडियो के पीछे बना बॉलीवुड के सबसे बड़े शो मैन राज कपूर का दिव्य बंगला ‘कृष्णा राज कॉटेज’ १०० करोड़ रुपए में बिककर अब गोदरेज की प्रॉपर्टी है। राज कपूर ने इसे १९४६ में खरीदा था। यहां वे परिवार के साथ रहा करते थे। ‘कृष्णा राज कॉटेज’ कितनी ही फिल्मी और गैर फिल्मी यादों का गुलदस्ता है। राज कपूर के बेटे रणधीर कपूर की बबीता और ऋषि कपूर की नीतू सिंह के साथ शादी इसी बंगले से हुई थी। बेटियों रिद्धिमा और करिश्मा कपूर की भी। यह बंगला २००५ में ही बिक गया होता। उस वक्त इसकी कीमत ३० करोड़ लगाई गई थी, लेकिन मां ने बेटे ऋषि को ऐसा करने से रोक दिया था।

दिलीप कुमार की यादगार
बांद्रा का पाली हिल सुनील दत्त व नरगिस दत्त, ऋषि कपूर, नीतू सिंह, गुलजार, आमिर खान, संजय दत्त सहित कई सितारों का घर रहा है। २,००० वर्ग मीटर में पैâले यहीं के बंगले में रहते हुए दिलीप कुमार ने ‘देवदास’ व ‘नया दौर’ जैसी सुपरहिट फिल्में दीं। दिलीप साहब ने सितंबर, १९५३ में अब्दुल लतीफ से इस बंगले को खरीदा था। १९६६ में सायरा बानो से शादी करने के बाद जब वे पत्नी सायरा बानो के घर रहने लगे, तब इसे आबाद रखा उनके दो भाइयों ने। इस जगह को आशर ग्रुप ११ मं‌जिला एक लग्जरी आवासीय इमारत बना रहा है। यह जगह अब उनकी यादों को उनके एक म्यूजियम के रूप में संजोकर रखेगी।

शाहरुख खान की मन्नत
अमिताभ बच्चन, राजेश खन्ना व शाहरुख खान जैसे सुपरस्टार ज्यादातर बंगलों में ही रहे। मधुबाला व किशोर कुमार का बंगला बांद्रा में था। जब मधुबाला रहने आर्इं, यह जगह पूरी तरह बियाबान थी। एक मं‌जिली इमारत तक नहीं। बगल में ही अभि भट्टाचार्य का घर। डैनी डेंग्जोप्पा का ‘डैजोंग्रिला’ भी ज्यादा दूर नहीं था। बांद्रा बैंडस्टैंड पर २७,००० वर्गफुट में पैâला शाहरुख का ‘विला वियना’ ग्रेड – ३ की विरासत इमारत है, जो देखने वालों को फोर्ट की एशियाटिक सोसायटी की याद दिला देती है। इसे १९२० में पारसी धनिक मानेकजी बॉटलीवाला ने बनवाया था। नौ वर्ष यह खाली रहने के बाद मालिकों ने इसे फिल्म शूटिंग के लिए देना आरंभ किया। शाहरुख शुरू में यहां किराए पर रहे, फिर १३ करोड़ रुपए में खरीद लिया, जरूरी बदलाव कराए और नाम दिया ‘मन्नत’। आज इसकी कीमत २०० करोड़ रुपए से ज्यादा है।

राजेश खन्ना का आशीर्वाद
१९६० के दशक में जब बांद्रा के कार्टर रोड पर बहुत कम बंगले हुआ करते थे मशहूर संगीतकार नौशाद ने यहां ‘आशियाना’ नामक बंगला खरीदा। ठीक पास ६,५०० वर्गफुट में पैâला दो मंजिला बंगला शुरू में ‘भूत बंगला’ कहलाता था। राजेश खन्ना ने सुन रखा था कि राजेंद्र कुमार की किस्मत इस बंगले में आते ही चमक उठी थी, इसलिए १९७० में उन्होंने यह बंगला साढ़े तीन लाख रुपए में खरीद लिया। नाम रखा ‘आशीर्वाद’। जुबली कुमार ने जब यह बंगला खुद लिया, तब उनके पास इसे खरीदने लायक ६०,००० रुपए नहीं थे। यह रकम उन्होंने जुटाई फिल्मकार बी. आर. चोपड़ा की ‘कानून’ और दो अन्य फिल्मों में काम करने के लिए हामी भरके। बेटी के नाम पर इसका नाम रखा ‘डिंपल’। संयोग से राजेश खन्ना को जो जीवन संगिनी मिली उसका नाम भी ‘डिंपल’ था। दु‌निया से राजेश खन्ना के विदा होते ही इस बंगले की किस्मत भी रूठ गई। जहां उनका म्यूजियम बनाने की बात चल रही थी, उसे उनकी बेटियों ने उसे ८५ करोड़ रुपए में एक बिल्डर को बेच दिया।

फिल्मी शूटिंग के ठिकाने
जानकर आश्चर्य हो सकता है, पर फिल्म वालों के प्रसिद्ध बंगले उनकी रिहाइश ही नहीं, फिल्मों की शूटिंग के भी काम आते हैं। शाहरुख खान का ‘मन्नत’ उनकी फिल्म ‘पैâन’ की पैâन फॉलोइंग का हिस्सा है और दृश्य वही, जो सुबह – शाम – रात रोज यहां नजर मौजूद होता है…शाहरुख हाथ लहराकर प्रशंसकों का शुक्रिया अदा कर रहे हैं। जुहू के बिलकुल पास अमिताभ बच्चन का १९७६ में खरीदा गया ‘प्रतीक्षा’ अनुराग कश्यप की ‘बॉम्बे टॉकीज’ के अलावा बल्की की ‘की ऐंड का’ की शूटिंग का हिस्सा रही। आज इस बंगले की कीमत करीब १०० करोड़ रुपए आंकी जाती है। १०,००० वर्ग फुट में पसरा पास ही ‘जलसा’ – जो अमिताभ परिवार का घर बनने से पहले ‘आनंद’, ‘चुपके- चुपके’ और ‘सत्ते पर सत्ता’ जैसी सुपर डुपर हिट फिल्मों की शूटिंग का स्थान रहा – आज कम से कम दो – ढाई सौ करोड़ रुपए की प्रॉपर्टी माना जाता है। यह पहले रमेश सिप्पी का घर था, जिसे ‘सत्ते पर सत्ता’ की कामयाबी से खुश होकर उन्होंने बिग बी को भेंट कर दिया था। ‘प्रतीक्षा’ से अमिताभ के दिल के सबसे करीब यादें जुड़ी हैं, क्योंकि यहां पिता हरिवंश राय बच्चन और माता तेजी बच्चन के साथ उन्होंने काफी बरस गुजारे। कई फिल्मों और टीवी कर्मशल में देखा गया बांद्रा बैंड स्टैंड का सौ साल से पुराना जीर्ण बंगला तो वक्त से लड़ाई हार गया है।
(लेखक ‘नवभारत टाइम्स’ के पूर्व नगर
संपादक, वरिष्ठ पत्रकार और स्तंभकार हैं।)

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