मनमोहन सिंह
महान वैज्ञानिक स्टीफन हॉकिंस ने कहा था कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग इंसानों को समझदारी से करना चाहिए, नहीं तो यह मनाव सभ्यता के विनाश का कारण भी बन सकता है।
दुनिया का एक खूबसूरत देश स्पेन। रेड वाइन और आॉलिव के लिए जाना-पहचाना शहर अलमेंद्रलेजो। १९३६ में हुए स्पेनिश गृहयुद्ध के नरसंहार का खामोश गवाह। विश्व गुरु की राह पर अग्रसर हिंदुस्थान! देश की आर्थिक राजधानी मुंबई से तकरीबन ९० किलोमीटर की दूरी पर बसा छोटा-सा शहर पालघर। अब आप सोच रहे होंगे स्पेन के शहर अलमेंद्रलेजो और हिंदुस्थान के शहर पालघर दोनों का क्या वास्ता? है, बिल्कुल है। इन दोनों ही शहरों में सिर्फ एक महीने के अंतराल में दो घटनाएं घटी, जिनमें एक सामानता है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का मिसयूज।
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से अगस्त महीने में जब दो लड़कों ने कई लड़कियों और महिलाओं के अश्लील वीडियो बनाकर उन्हें सोशल मीडिया पर शेयर भी कर दिया, तब पालघर ही नहीं सारा देश सकते में आ गया था। इतना ही नहीं उनकी हिम्मत तो देखिए जब लड़कियों ने इसका विरोध किया तो आरोपियों ने उनके साथ मारपीट भी की। पुलिस ने इस आरोप में पुलिस महकमे के ही अफसर के दो बेटों को गिरफ्तार किया, उनकी उम्र १९ और २१ साल है। पालघर पुलिस के मुताबिक, संभवत: यह राज्य का पहला मामला है, जिसमें आपत्तिजनक वीडियो बनाने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल किया गया।
अब चलते हैं स्पेन। अलमेंद्रलेजो शहर के लोगों को पिछले सप्ताह उस वक्त सदमा लगा, जब शहर की लड़कियों की न्यूड तस्वीर व्हॉट्सऐप एवं टेलीग्राम पर दिखने लगीं। तकरीबन २०, लड़कियां जिनकी उम्र ११ से १७ साल के बीच है, वे और उनके माता-पिता इन तस्वीरों से दुखी हैं, घबराए हैं, आक्रोशित हैं और शर्मसार भी! हालांकि, सभी ने इस मामले में पुलिस से शिकायत की है, बावजूद इसके लोग डरे हुए हैं। उन्हें डर है कि कहीं और किसी परिवार की लड़कियों की तस्वीर सोशल मीडिया पर न आ जाए। ऐसे अवसाद भरे माहौल में बड़ी बात यह है कि पीड़ित लड़कियों की माताएं एकजुट होकर न केवल अपनी बच्चियों को मानसिक रूप से सपोर्ट कर रही हैं बल्कि उन्होंने सोशल मीडिया पर एक प्लेटफॉर्म तैयार कर इस संवेदनशील मसले पर संवाद भी कायम करना शुरू कर दिया है।
एक पीड़ित लड़की की मां और पेशे से गाइनेकोलॉजिस्ट, डॉ़ मरियम अल आदीब इन लड़कियों में एक विश्वास पैदा करना चाहती हैं, ताकि उनके भीतर कोई गिल्ट न हो। वह चाहती हैं कि लड़कियों तक यह मैसेज पहुंचे कि इस मसले में `उनकी कोई गलती नहीं है।’ इस बीच पुलिस ने इस कांड के संबंध में ११ से अधिक स्थानीय लड़कों की पहचान कर ली है। यह वे लोग हैं, जिन्होंने तस्वीरों के साथ छेड़छाड़ की है या फिर न्यूड तस्वीरों को व्हॉट्सऐप टेलीग्राम पर शेयर किया है। पुलिस इस मामले में इस एंगल से भी छानबीन कर रही है कि क्या इन तस्वीरों के जरिए लड़कियों को एक्स्टॉर्ट भी किया जा रहा था? इस तरह की एक शिकायत पुलिस के पास किए जाने की खबर भी है। देर सबेर अपराधियों को गिरफ्तार किया जाएगा। यह कहना संभव नहीं है क्योंकि आज की तारीख में दुनियाभर के हर हिस्से में इसका दुरुपयोग बेखौफ बढ़ता ही जा रहा है। ऐसे में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के गॉड फादर माने जाने वाले डॉक्टर ज्यॉप्रâे हिंटन की बात याद आनी लाजिमी है। उन्होंने इसे दुनिया के लिए खतरा बताते हुए कहा था,`यह मानवता के लिए खतरा है। अभी यह वरदान जैसा लग रहा हो, लेकिन ऐसा है नहीं।’
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के संभावित खतरों के बारे में चेतावनी देते हुए हिंटन ने कहा, `ये देखना मुश्किल है कि आप बुरे लोगों को बुरे कामों के लिए इसका इस्तेमाल करने से वैâसे रोक सकते हैं।’ हिंटन ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के खिलाफ बोलने के लिए गूगल तक की नौकरी छोड़ दी। उन्होंने टेक कंपनियों को भी आगाह करते हुए कहा कि टेक कंपनियां भले ही रेस में हैं और नई-नई खोज कर रही हैं, लेकिन इसके रिस्क से निपटने की उनके पास कोई योजना नहीं है। सेंसिटी रिपोर्ट का डरावना सच यह है कि सोशल मीडिया से हजारों लड़कियों की तस्वीरें चुराकर उन्हें `डीपन्यूड’ ऐप और सॉफ्टवेयर की मदद से एडिट किया जा रहा है और न्यूड तस्वीरों में बदला जा रहा है, जिसकी खबर टारगेट बनी लड़कियों को तक नहीं है। शेयर की जा रही तस्वीरों में से करीब ७० फीसदी पर्सनल सोशल मीडिया अकाउंट्स से हैक की गई हैं। इनमें से ज्यादातर की उम्र १८ साल से कम है। एक लाख से ज्यादा लड़कियों के ऐसे न्यूड्स वायरल किए जा रहे है।
डरें नहीं, शिकायत दर्ज करें
साइबर एक्सपर्ट हर्ष मनराल बताते हैं कि यदि आप इस तरह के अपराध का शिकार हो जाएं, तो साइबर क्राइम सेल से संपर्क कर शिकायत दर्ज करें। यूजर्स को हमेशा सोशल मीडिया पर अपनी तस्वीर शेयर करते वक्त सावधान रहना चाहिए। अगर किसी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपनी तस्वीर नजर आए तो ऐसी सूरत में भी साइबर क्राइम सेल में जाकर रिपोर्ट्स दर्ज करवा लेनी चाहिए।
सख्त सजा का प्रावधान
एडवोकेट दरम्यान सिंह बिष्ट बताते हैं कि इस तरह के मामलों में आईटी एक्ट, आइपीसी की विभिन्न धाराओं और डेटा प्रोटेक्शन लॉ के तहत केस हो सकता है। आई टी एक्ट की धारा ६७ के अंतर्गत यदि इंटरनेट पर किसी भी प्रकार की कोई आपत्तिजनक वीडियोज पोस्ट की जाती है तो तो पोस्ट करने वाले व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई करने का प्रावधान है, जिसके तहत तीन साल तक की सजा और जुर्माने का भी प्रावधान है और यह सजा बढ़ाई भी जा सकती है। साथ-साथ मानहानि का भी केस किया जा सकता है।