श्मशान भूूमि पर कब्जा करके इमारत बनाने की कोशिश
आक्रामक हुए स्थानीय, परियोजनाएं रद्द करने की उठी मांग
सामना संवाददाता / ठाणे
मुख्यमंत्री के ठाणे में तेजी से अतिक्रमण होने का मामला सामने आ रहा है। इसी बीच कोपरी श्मशान की जगह पर इमारत बनाकर कब्जा करने का प्रयास किया गया लेकिन स्थानीय नागरिकों ने इसका तीव्र विरोध किया। नागरिकों का कहना है कि इमारत के निर्माण से श्मशान के क्षेत्र पर कब्जा हो जाएगा और अंतिम संस्कार करने में उन्हें समस्याओं का सामना करना पड़ेगा। नागरिकों को अंतिम संस्कार के लिए भी जमीन नहीं मिल पाएगी। कोपरी श्मशान भूमि के हितैषी नागरिक संघ और कोपरी संघर्ष समिति ने कोपरी श्मशान भूमि में बनाई जानेवाली परियोजनाओं को रद्द करने की मांग की है।
बता दें कि ठाणे स्थित कोपरी क्षेत्र की आबादी लगभग दो लाख है। कोपरी स्थित अष्टविनायक चौक, नखवा हाई स्कूल, कोपरी, सिद्धार्थ नगर, कोपरी गांव, ठाणेकर वाडी, आनंद नगर, मेंटल अस्पताल परिसर में रहनेवाले नागरिकों के लिए कोपरी स्थित श्मशान सुविधाजनक माना जाता है। ठाणे पूर्व स्थित कोपरी क्षेत्र में श्मशान भूमि के लिए ४४ वर्ष पहले स्थानीय भूमिपुत्र विष्णु ठाणेकर ने १,४०० वर्ग मीटर जमीन दान में दी थी। यह कोपरिकरों का एकमात्र कब्रिस्तान है। लेकिन इस श्मशान भूमि में एक ट्रस्ट के माध्यम से श्मशान भूमि के कोने में बच्चों को दफनाने की जगह हटा दी गई और एक इमारत बना दिया गया। साथ ही ट्रस्ट ने चार मंजिला इमारत बनाने की कोशिश की थी लेकिन स्थानीय नागरिकों की शिकायत के चलते मनपा ने भवन पर हथौड़ा चला दिया। उस वक्त भी कोर्ट ने संबंधित ट्रस्ट के खिलाफ पैâसला सुनाया था। मनपा के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि मनपा केवल श्मशान भूमि से संबंधित विकास कार्य ही कर रही है। किसी भी प्रकार का अवैध निर्माण नहीं किया जा रहा है।