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पंजाब की नसों में क्यों फैला अमृतपाल का जहर! … केंद्र सरकार की कमजोर इच्छाशक्ति

•  खुफिया एजेंसियां पड़ गई हैं सुस्त
सामना संवाददाता / नई दिल्ली
पंजाब में खालिस्तान आंदोलन २.० के समर्थक बनकर उभरे अमृतपाल सिंह के इरादे काफी खतरनाक थे। उसने पंजाब को फिर से दहलाने का पूरा खाका बनाकर तैयार कर लिया था। इसका पता पिछले दिनों तब चला जब खालिस्तानी समर्थकों की एक बड़ी भीड़ ने वहां के एक पुलिस थाने पर अटैक कर दिया था। पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई ने पंजाब की नसों में एक बार फिर से खालिस्तान का जहर फैला दिया, पर आश्चर्य की बात है कि किसी को खबर तक नहीं हुई। आईएसआई ने ८० के दशक में भिंडरावाले का जहर फैलाया था, इस बार अमृतपाल का जहर फैलाया है। अब सोचने की बात है कि पंजाब की नसों में इस बार ये अमृतपाल का जहर क्यों फैला?
दरअसल, इसकी कहानी ज्यादा पुरानी नहीं है। जबसे पंजाब में ‘आप’ की ताकत बढ़ी है, केंद्र सरकार की वहां रुचि कम हो गई है। इसका सीधा परिणाम हुआ कि वहां अलगाववादी ताकतों ने सिर उठा दिया। देश की रॉ और आईबी जैसी खुफिया एजेंसियां केंद्र सरकार के अधीन काम करती हैं। वे सुस्त पड़ गर्इं। ऐसे में वहां जो भी बुरा होता उसका सेहरा भगवंत मान की सरकार के गले पड़ता।

यही वजह है कि पंजाब की नसों में अमृतपाल का जहर फैलता चला गया और अब जब बात हद से ज्यादा बढ़ गई तब जाकर केंद्र ने केंद्रीय टुकड़ियों को एक्टिव किया।
बता दें कि खुफिया सूचना में कहा गया है कि खालिस्तान समर्थक उपदेशक अमृतपाल सिंह हथियारों को जमा करने के लिए नशा मुक्ति केंद्रों और एक गुरुद्वारे का इस्तेमाल कर रहा था और आत्मघाती हमले के लिए युवाओं को तैयार कर रहा था। विभिन्न सुरक्षा एजेंसियों के साथ एक डोजियर (ऐसी फाइल जिसमें किसी व्‍यक्ति, घटना या विषय पर विस्‍तृत जानकारी हो) तैयार किया गया है। इसमें दावा किया गया है कि सिंह युवाओं को ‘खाड़कू’ या मानव बम बनाने के वास्ते उन्हें तैयार करने में मुख्य रूप से शामिल था। सिंह पिछले साल कथित रूप से पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई और विदेशों में रहनेवाले खालिस्तान के हमदर्दों के कहने पर दुबई से भारत लौटा था।
दूतावासों के सामने उत्पात
बता दें कि खालिस्तान समर्थकों ने विदेशों में हिंदुस्थानी दूतावासों के सामने जमकर उत्पात मचाया और हमले किए। इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया से हमले की खबरें आई हैं। इधर पंजाब में मामले की गंभीरता को देखते हुए इंटरनेट पर पूरी तरह से पाबंदी लगा दी गई है।
पाकिस्तान दे रहा है शह
अमृतपाल के ‘वारिस पंजाब दे’ संगठन के खिलाफ शनिवार को पंजाब सरकार की ओर से की गई कार्रवाई के बाद से ही स्वयंभू कट्टरपंथी उपदेशक फरार है। इस कार्रवाई के तहत संगठन के ७८ सदस्यों को गिरफ्तार किया गया था। विशेषज्ञों और पंजाब की स्थिति पर नजर रखनेवाले अधिकारियों के मुताबिक, अपने सबसे गंभीर आर्थिक संकट से जूझ रहा पाकिस्तान भारत में अमृतपाल सिंह जैसे अपने लोगों को सक्रिय कर अपने यहां ध्यान भटकाने की हर मुमकिन कोशिश कर रहा है। भारत के खिलाफ लड़ी हर जंग में उसे हार का मुंह देखना पड़ा है। मामले की जांच के दौरान, सिंह द्वारा स्थापित तथाकथित आनंदपुर खालसा फ्रंट (एकेएफ) के लिए लाए गए हथियार और गोला-बारूद को जब्त किया गया है।

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