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हां, यह कुटुंब बचाने की लड़ाई है, पूरा भारत ही हमारा कुटुंब! उद्धव ठाकरे की गर्जना

सामना संवाददाता / मुंबई
‘हां, यह कुटुंब बचाने की लड़ाई है और पूरा देश ही हमारा कुटुंब है,’ इन शब्दों में शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) पक्षप्रमुख उद्धव ठाकरे ने कल भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर बरसते हुए कहा कि हमारी लड़ाई पार्टी और एक व्यक्ति के विरोध में नहीं, बल्कि तानाशाही के खिलाफ है। उन्होंने विश्वास जताते हुए कहा कि हमारी विजय होगी ही।
भाजपा के विरोध में २०२४ के लोकसभा चुनाव के लिए एकता का वङ्कामूठ बनाया गया है। कल एक नए राष्ट्रीय गठबंधन ‘इंडिया’ की घोषणा की गई। इस मौके पर बोलते हुए उद्धव ठाकरे ने देश के मौजूदा हालात पर सख्त टिप्पणी करते हुए अपना पक्ष रखा। उद्धव ठाकरे ने कहा कि तानाशाही के खिलाफ लोग एकजुट हो रहे हैं। आज हमारी दूसरी बैठक सफलतापूर्वक संपन्न हुई। ‘इंडिया’ गठबंधन के नए नाम की भी घोषणा हुई है। इंडिया मतलब भारत के लिए हम सभी लड़ रहे हैं और यह लड़ाई हमें आगे ले जानी है।

इसे ही लोकतंत्र कहते हैं -उद्धव ठाकरे

आपकी अलग-अलग विचारधारा है, ऐसा मुझसे पूछा जाता है… उस पर मेरी स्पष्ट राय है, राजनीति में अलग-अलग विचारधारा होनी ही चाहिए। इसे ही तो लोकतंत्र कहते हैं। लेकिन अलग विचारधारा होते हुए भी हम एक साथ आए हैं। क्योंकि यह लड़ाई केवल हमारी एक पार्टी की नहीं है, ऐसी जोरदार गर्जना करते हुए उद्धव ठाकरे ने तोप दागी।
खतरे में स्वतंत्रता
कुछ लोगों को ऐसा लगता है कि हम यह लड़ाई कुटुंब के लिए लड़ रहे हैं। हां, हम कुटुंब के लिए लड़ रहे हैं। देश ही हमारा कुटुंब है और हम इस कुटुंब के लिए लड़ रहे हैं। इस कुटुंब को हम बचाना चाहते हैं। हमारी लड़ाई किसी एक पार्टी या एक व्यक्ति के खिलाफ नहीं है। उद्धव ठाकरे ने जोर देकर कहा कि ये लड़ाई नीति और तानाशाही के खिलाफ है। एक लड़ाई आजादी के लिए लड़ी गई। आज वही स्थिति पैदा हो गई है। देश की आजादी खतरे में है। उद्धव ठाकरे ने दृढ़ विश्वास के साथ कहा कि इस आजादी को बचाए रखने के लिए हम सब एक साथ आए हैं और हम सफल होंगे। पटना और अब बंगलुरु में ऐसी दो बैठकें हुई हैं। कल की बैठक सफल रही। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, उपमुख्यमंत्री शिवकुमार इन सभी को मैं धन्यवाद दूंगा। उन्होंने अच्छा आयोजन किया। अब अगली बैठक हम मुंबई में करेंगे। इसकी तारीख तय की जाएगी।
हम हैं ना…
अब क्या होगा इस डर से देश की जनता के मन में डर है। हालांकि, उन्हें घबराने की कोई जरूरत नहीं है। बीच में एक फिल्म आई थी… ‘मैं हूं ना’ वैसे ही मैं जनता से कहूंगा… हम हैं ना … तो जनता को क्यों घबराना चाहिए? एक व्यक्ति, एक पार्टी का अर्थ देश नहीं हो सकता। उद्धव ठाकरे ने कहा कि देश की जनता इंडिया और भारत बनकर फिर आएगी और उसी ताकत पर हम अपने देश को सुरक्षित रखेंगे।

यह लड़ाई इंडिया बनाम डिक्टेटरशिप! -आदित्य ठाकरे
भारत की एकता और संप्रभुता को बनाए रखने के लिए विपक्षी दलों की वङ्कामूठ तैयार हो गई है, उसका नाम – ‘इंडिया’ है। अब लड़ाई इंडिया बनाम डिक्टेटरशिप की होने जा रही है। इस तरह का हमला शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) नेता, युवासेना प्रमुख आदित्य ठाकरे ने किया। बंगलुरु की बैठक में उद्धव ठाकरे के साथ आदित्य ठाकरे और शिवसेना नेता, सांसद संजय राऊत भी उपस्थित थे।

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